नई दिल्ली के प्रतिष्ठित सी डी देशमुख ऑडिटोरियम में करुणा फाउंडेशन ने सात्विक टेक एंड एसोसिएट्स के साथ साझेदारी में हाल ही में “विकसित भारत और साइबर सुरक्षित भारत” नामक एक महत्वपूर्ण सेमिनार का आयोजन किया। इस कार्यक्रम में साइबर सुरक्षा और AI के महत्वपूर्ण अंतरसंबंधों पर चर्चा करने के लिए लीडिंग एक्सपर्ट्स, पॉलिसी मेकर्स और इंडस्ट्री लीडर्स एक साथ आए।
बता दें कि विकास निगम, करुणा फाउंडेशन के संरक्षक और सात्विक टेक के निदेशक ने AI की शक्ति का उपयोग करके भारत के डिजिटल परिदृश्य को बढ़ाने के लिए अपनी प्रतिबद्धता व्यक्त की। सेमिनार का मुख्य फोकस भारत की डिजिटल सुरक्षा को मजबूत करने में जीरो ट्रस्ट और जेनरेटिव एआई (जेनएआई) की क्षमता का पता लगाने पर रहा।
कार्यक्रम की शुरुआत लेफ्टिनेंट जनरल (सेवानिवृत्त) श्री राजेश पंत, पूर्व एनसीएससी, पीएमओ, भारत सरकार के मार्गदर्शन में हुई। उद्घाटन सत्र में कई प्रमुख व्यक्ति शामिल हुए, जिनमें मुख्य अतिथि लेफ्टिनेंट जनरल एमयू नायर (सेवानिवृत्त), एनसीएससी, पीएमओ, भारत सरकार, श्री बी शंकर जायसवाल, आईपीएस, संयुक्त सीपी, टेक एंड पीआई और सीआईएसओ, दिल्ली पुलिस शामिल थे। उनकी उपस्थिति ने इस सेमिनार के महत्व को दिखाया। इसके अलावा, सचिव, विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी विभाग, पश्चिम बंगाल सरकार और श्री मधुकर कुमार भगत, आईआरएस, संयुक्त सचिव (ई-स्वास्थ्य), स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्रालय, भारत सरकार ने भी इसमें भाग लिया।
सेमिनार का मुख्य आकर्षण तीन रोचक पैनल चर्चाएं रही, जिसमें विशेषज्ञों, नीति निर्माताओं, उद्योग जगत के नेताओं, शोधकर्ताओं और चिकित्सकों ने भाग लिया, जिसमें पहला पैनल चर्चा “साइबर क्राइम मैनेजमेंट – एआई/एमएल की भूमिका” पर थी। दूसरे पैनल ने “ई-गवर्नेंस और साइबर क्राइम मैनेजमेंट के लिए साइबर रक्षा में एआई की भूमिका” पर ध्यान केंद्रित किया। जबकि अंतिम पैनल स्वास्थ्य सेवा में हेल्थटेक, जीरो ट्रस्ट और जेनएआई की रक्षा और भारत के डिजिटल स्वास्थ्य क्षेत्र को सुरक्षित करने के लिए मदद के बारे में था।