मानहानि के आरोप में कोलकाता हाईकोर्ट के पूर्व जज जस्टिस कर्णन को तमिलनाडु के कोयंबटूर से गिरफ्तार कर लिया है, जस्टिस कर्णन पहले ऐसे जज हैं जिन्हें गिरफ्तार किया गया।
देश का यह पहला मामला है जब किसी जज को गिरफ्तार किया गया हो। कोलकाता हाईकोर्ट के पूर्व जज जस्टिस कर्णन को तमिलनाडु के कोयंबटूर से गिरफ्तार कर लिया है। मानहानि के आरोप में सुप्रीमकोर्ट ने जस्टिस कर्णन की गिरफ्तारी का आदेश दिए थे। सुप्रीम कोर्ट ने जस्टिस कर्णन को चह महीने की सजा सुनाई है। इस गिरफ्तारी के बाद जस्टिस कर्णन पहले ऐसे जज बन गए हैं जिन्हें गिरफ्तार किया गया।
9 मई को सुप्रीम कोर्ट जस्टिस कर्णन की गिरफ्तारी का आदेश दिया था, इसी के बाद वे फरार चल रहे थे। कोर्ट ने उन्हें भगोड़ा घोषित कर दिया था। जस्टिस कर्णन इसी महीने 12 जून को अपने पद से रिटायर हुए।
जस्टिस कर्णन ने इसी साल 23 जनवरी को पीएम को लेटर लिखकर 20 जजों पर करप्शन का आरोप लगाया था। इनमें सुप्रीम कोर्ट के पूर्व जज और मद्रास हाईकोर्ट के मौजूदा जज शामिल हैं। जस्टिस कर्णन ने इस मामले की जांच कराने की मांग की थी।
इस पर सुप्रीम कोर्ट ने 8 फरवरी को जस्टिस कर्णन को नोटिस जारी पूछा था कि क्यों न इसे कोर्ट की अवमानना माना जाए। कोर्ट ने उन्हें मामले की सुनवाई होने तक सभी ज्यूडिशियल और एडमिनिस्ट्रिेटिव फाइलें कलकत्ता हाईकोर्ट के रजिस्ट्रार जनरल को लौटाने को कहा था।
सुप्रीम कोर्ट ने जस्टिस कर्णन को 13 फरवरी को कोर्ट में पेश होने को कहा था, लेकिन वो हाजिर नहीं हुए। बता दें कि यह पहला केस था जब सुप्रीम कोर्ट ने हाईकोर्ट के मौजूदा जज को अवमानना का नोटिस भेजा था।